भले ही इस देश की सत्ता के शीर्ष पर बैठे लोग भारत को विश्व गुरु बनाने का दावा कर रहें हों लेकिन यहाँ के जातिवादी लोगों द्वारा देश के मूलनिवासियों पर आए दिन किए जाने वाले जातीय उत्पीड़न कुछ और ही कहानी बयां करते हैं।
ताजा मामला छत्तीसगढ़ का है जहाँ नगर निगम में काम करने वाली महिला सफाईकर्मियों ने ठेका लेने वाली कम्पनी लायन्स के मैनेजर के ऊपर जातिवादी टिप्पणी और अश्लील हरकरत करने का आरोप लगाया है।
क्या है पूरा मामला?
सफाईकर्मी के रूप में बिलासपुर में काम करने वाली महिला का आरोप है कि जबसे बिलासपुर नगर निगम सफाई का ठेका लायंस कम्पनी को मिला है तब से सफाईकर्मियों को समय पर वेतन का भुगतान नहीं हो रहा है।
आरोप है कि, समय पर वेतन की मांग करने वाले कर्मियों के साथ मैनेजर दुर्व्यवहार करता है। लायन्स कम्पनी के मैनेजर के इस रवैये से तंग आकर कर्मियों ने जब काम का बहिष्कार करने का ऐलान किया तो कथित रूप से कई महिला सफाईकर्मियों से मैनेजर शैलेंद्र सिंह ने दुष्टतापूर्ण व्यवहार किया और महिलाकर्मियों को 'नीच जाति' से सम्बोधित किया।
द मूकनायक से बातचीत के दौरान नगर निगम में सफाईकर्मी के रूप में काम करने वाली महिला ने बताया कि, "शैलेंद्र सिंह ना केवल उन्हें जातिसूचक अभद्र गालियां देता है बल्कि कई महिला कर्मियों को किसी भी काम के लिए उन्हें अपने निजी केबिन में बुलाकर उनसे अश्लीलतापूर्ण व्यवहार भी करता है।"
गिरफ़्तारी की मांग और प्रशासन को चेतावनी
मामले के बढ़ने पर, मैनेजर शैलेन्द्र सिंह के इस व्यवहार से तंग आकर उसकी गिरफ्तारी और निलंबन के लिए सैकड़ो सफाईकर्मियों ने 5 दिनों तक धरना भी दिया।
पुलिस महानिरीक्षक बिलासपुर को दिए गए एक शिकायती पत्र में सफाईकर्मियों ने मांग की है कि, "आरोपी लायन सर्विस लिमिटेड कंपनी के मैनेजर के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया जाए।" सफाईकर्मियों ने शिकायती पत्र के माध्यम से प्रशासन को चेतावनी भी दी है कि अगर आरोपी के खिलाफ कार्यवाई नहीं की गई तो वे कलेक्ट्रेट के सामने कचरा डंप करना शुरू कर देंगे।
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