MP: सीधी आदिवासी रेपकांड आरोपियों से 16 फोन मिले, इनसे लड़कियों को बनाते थे शिकार

आरोपी ने जिस मैजिक वॉइस एप का उपयोग कर 7 आदिवासी छात्राओं से बलात्कार किया था, अब उस एप को प्रतिबंधित करने के लिए केंद्र को प्रस्ताव भेजने की तैयारी.
पुलिस गिरफ्त में आरोपी.
पुलिस गिरफ्त में आरोपी.
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भोपाल। मध्य प्रदेश के सीधी में सात आदिवासी लड़कियों के साथ बलात्कार मामले में गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) तेजी से काम कर रहा है। केस में साइबर फोरेंसिक एक्सपर्ट टीम सोमवार को घटना स्थल पहुंची। पुलिस टीम आरोपी बृजेश प्रजापति के पास से जप्त 16 मोबाइल, सिम कार्ड और उसकी काल हिस्ट्री की जांच कर रही है।

पुलिस को संदेह है कि कुछ और भी ऐसे मोबाइल और सिम कार्ड हो सकते हैं, जिनका आरोपियों ने उपयोग किया हो, इसलिए पुलिस उनकी तलाश कर रही है। मामले को नतीजे तक पहुंचने के लिए एसआईटी 14 से 15 घंटों से लगातार जांच कर रही है। पुलिस मोबाइल और सिम कार्ड की तलाश कर रही है, साथ ही काल हिस्ट्री के आधार पर और भी ऐसी युवतियों तक पहुंचने का प्रयास कर रही है, जिनके साथ आरोपियों ने दुष्कृत्य किया हो।

जांच के दौरान पुलिस ने पीड़ित और आरोपित के मोबाइल का सीडीआर निकाला। स्थानीय समाचार पत्र की रिपोर्ट के मुताबिक पुलिस को सीडीआर जांच में ऐसे नंबर मिले हैं, जिनपर आरोपी घटना के दिन एक नंबर पर 20 से 25 बार बात करता था। खास यह था कि वह घटना से पहले और घटना के बाद दोबारा बात नहीं करता था।

चारों पीड़िता के साथ एक जैसे डिटेल मिले हैं। घटनास्‍थल जाने के लिए किन-किन रास्तों से गया। उसके मोबाइल टावर लोकेशन भी देखा जा रहा है। चार से पांच किमी पैदल चलकर पुलिस बीहड़ जंगल में साक्ष्य जुटाने में मेहनत कर रही है। राहुल और संदीप प्रजापति दोनों सगे भाई हैं, जो रिश्ते में आरोपी के चचेरे साले हैं। लवकुश प्रजापति ने मैजिक एप को डाउनलोड किया था।

पुलिस ने की काउंसलिंग

पहली शिकायत दर्ज होने के बाद साइबर के जरिए पुलिस अन्य पीड़िता तक पहुंच गई। पुलिस अधीक्षक डॉ. रवींद्र वर्मा ने पीड़िता से 4-5 घंटे तक बातचीत कर काउंसलिंग की। भरोसा दिलाया कि आरोपियों को कड़ी सजा मिलेगी।

द मूकनायक से बातचीत में एसपी ने बताया कि सायबर सेल की टीम जांच कर रही है। हम अन्य पीड़िताओं तक पहुँचने का प्रयास कर रहे हैं।

एप पर प्रतिबंध के लिए केंद्र को भेजा जाएगा प्रस्ताव

आरोपी ने जिस मैजिक वॉइस एप का उपयोग कर 7 आदिवासी छात्राओं से बलात्कार किया था, अब उस एप को प्रतिबंधित करने की तैयारी है। राज्य सरकार उस एप पर रोक के लिए केंद्र सरकार को प्रतिवेदन भेजेगी। राज्य साइबर सेल ने इसके लिए प्रक्रिया पूरी कर ली है। इसके अलावा अब इस तरह के अन्य एप की भी पड़ताल की जा रही है, जिनका उपयोग कर अपराधों को अंजाम दिए जाने की आशंका है।

राज्य साइबर एडीजी योगेश देशमुख के मुताबिक, इस तरह के वॉइस चेंजिग एप से अपराधों को अंजाम दिया जा रहा है। इस बीच, पूछताछ में मुख्य आरोपी ब्रजेश प्रजापति का कहना है कि उसके पास से जब्त 16 मोबाइल फोन में से अधिकतर चोरी के हैं। ये मोबाइल फोन उसने जबलपुर और सीधी के अलग-अलग क्षेत्रों से चुराए थे।

ब्रजेश का कहना है कि उसका मोबाइल चोरी हो गया था, इसके बाद से उसने मोबाइल फोन चुराना शुरू किया। जब कई मोबाइल इकट्‌ठे हो गए तो राहुल, संदीप और लवकुश उन्हें बेचने में मदद करते थे।

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छात्रा की हिम्मत से हुआ खुलासा

इस रेपकांड का खुलासा एक पीड़िता की शिकायत पर हुआ। पुलिस के मुताबिक पीड़िता सिंगरौली की रहने वाली है। वह अपने चाचा के साथ सीधी के एक कॉलेज से बीएससी की पढ़ाई करती है। 18 वर्षीय पीड़िता 20 अप्रैल को घटना का शिकार हुई थी। 23 मई को छात्रा ने सीधी के मझौली थाने पहुंच कर इस मामले की शिकायत की, तब यह मामला उजागर हुआ।

छात्रा ने पुलिस से कहा- "घटना उजागर के लिए हिम्मत जुटानी थी, रात को सो नहीं पा रही थी।" पीड़िता के मुताबिक 20 अप्रैल की शाम 4 बजे उसके मोबाइल पर एक महिला का कॉल आया था। उसने खुद को कॉलेज की मैडम बता कर बात की। बोली कि आवास के पैसे आ गए हैं। मेरे पास आकर फॉर्म पर हस्ताक्षर कर दो, जिससे पैसे तुम्हारे खाते में ट्रांसफर कर दूं।

कॉल करने वाले का लास्ट नंबर डिजिट 59 था। शाम हो चुकी थी इसलिए पीड़िता ने जाने से इनकार कर दिया। लेकिन, मैडम ने कहा आ जाओ नहीं तो पैसा रुक जायेगा। पीड़िता उसकी बातों में आकर शाम को बस से टिकरी पहुंची।

पीड़िता ने कॉल बैक कर टिकरी पहुंचने की सूचना कथित मैडम को दी। मैडम बोली कि वह घर आ चुकी है। पीड़िता को लाने के लिए एक लड़के को भेजने की बात की। कुछ देर बाद पीड़िता के मोबाइल पर एक नए नंबर से फोन आया, जिसमें लास्ट डिजिट 30 था।

उस व्यक्ति ने कहा कि वह काले रंग की बाइक पर बैठा है। पीड़िता जब उसके पास पहुंची तो वह हेलमेट पहना था। उसके हाथों में ग्लब्स थे। पीड़िता उसके साथ बाइक पर बैठ गई। तब तक शाम के 7 बज चुके थे। एक सुनसान जगह जाकर अचानक उसने बाइक रोक दी। फिर हेलमेट उतार दिया। किसी अनहोनी की आशंका के चलते पीड़िता वहां से भागने लगी, तो आरोपी बाइक सवार ने उसे पकड़ लिया। उसके साथ मारपीट की और जंगल में ले जाकर दो बार रेप किया। पीड़िता के मुताबिक उसके हाथ पर जले के निशान थे।

मारपीट की वजह से पीड़िता डर गई और आँखें बंद कर ली। आरोपी को लगा कि वह बेहोश हो गई। उसने मोबाइल की फ्लैश लाइट चालू की। तब पीड़िता ने उसका चेहरा देख लिया। इसके बाद उसने पीड़िता को जान से मारने की धमकी दी। वह उसे बाइक पर बैठाकर जंगल से 6 किमी दूर ले गया और एक सुनसान जगह पर जाकर छोड़ दिया।

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