राजस्थान के इस जिले में क्यों दलित युवा नीला गमछा डालकर सड़क पर उतरे!

झालावाड़ जिले में नीला गमछा गले में डालने पर युवक से हुई थी मारपीट, पुलिस नहीं कर रही कार्रवाई, एक सप्ताह बाद भीम आर्मी ने किया प्रदर्शन।
राजस्थान के इस जिले में क्यों दलित युवा नीला गमछा डालकर सड़क पर उतरे!
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जयपुर। राजस्थान के झालावाड़ जिले के पगारिया थाना इलाके के बरडिया गांव में शादी समारोह में नीला गमछा गले में डालकर आए युवक की पिटाई करने वाले मुख्य आरोपी के अलावा शेष आरोपियों की एक सप्ताह बाद भी गिरफ्तारी नहीं हुई।

इससे नाराज भीम आर्मी व आजाद समाज पार्टी के कार्यकर्ताओं ने भवानी मंडी में रैली निकाल कर विरोध प्रदर्शन किया। यह बात अलग है कि भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी के प्रदर्शन से पूर्व ही पुलिस ने भीम आर्मी कार्यकर्ता से मारपीट के नामजद आरोपी जसवंत सिंह और दीपक कुमार को गत 17 मई को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया था। जहां से न्यायालय ने दोनों को जमानत पर रिहा कर दिया, जबकि घटना में शामिल अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं की गई।

पुलिस की अनदेखी से नाराज झालावाड़ जिले के भीम आर्मी व आजाद समाज पार्टी के कार्यकर्ता पगारिया बस स्टैंड पर एकत्रित हुए। गले में नीला गमछा डाले भीम आर्मी व आजाद समाज पार्टी के कार्यकर्ताओं की भीड़ पगारिया से जयभीम के नारों के साथ नाथू खेड़ी, करावन, सिलेगढ़, मिश्रौली होते हुए पच पहाड़ पहुंची।

यहां चौराहे पर स्थापित बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। यहां से बाईपास होते हुए झालावाड़ जिले के भवानी मंडी उपखण्ड अधिकारी कार्यालय पहुंचे। एसडीएम कार्यालय के बाहर प्रदर्शन कर पुलिस व प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। पगारिया थाना इलाके के बरडिया गांव में 11 मई को बिंदोरी के दौरान नीला गमछा गले में डालने पर भीम आर्मी कार्यकर्ता के साथ मारपीट की घटना के नामजद आरोपियों की एक सप्ताह बाद भी गिरफ्तारी नहीं होने पर पुलिस की कार्यशैली पर नाराजगी जाहिर की।

भीम आर्मी प्रदेश उपाध्यक्ष कृषण मेहरा के नेतृत्व में आरोपियों को गिरफ्तार करने की मांग को लेकर राष्ट्रपति के नाम भवानी मंडी के उपखण्ड अधिकारी को ज्ञापन सौंपा गया। साथ ही क्षेत्र में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति समाज के लोगों पर हुई अत्याचार की अन्य घटनाओं से पुलिस उपाधीक्षक भवानी मंडी किशोर सिंह को अवगत कराया गया।

इस दौरान भीम आर्मी प्रदेश उपाध्यक्ष कृष्णा सिंह मेहरा के साथ भीम आर्मी जिला अध्यक्ष अशोक सोलंकी, पूर्व जिला अध्यक्ष पवन चौहान, भीम आर्मी के पूर्व संभाग उपाध्यक्ष रामकिशन मेघवाल, भीम आर्मी स्टूडेंट फेडरेशन जिला अध्यक्ष हंसराज भारतीय, आजाद समाज पार्टी आगर जिला अध्यक्ष गोपाल नेताजी, जिला उपाध्यक्ष पंकज मेघवाल, झालावाड़ जिला उपाध्यक्ष राम लखन, भवानीमंडी तहसील अध्यक्ष लालचंद मेहर, छात्र परिषद जिला अध्यक्ष ईश्वर मेघवाल, भगवान सिंह, गंगाराम मेघवाल, श्याम वर्मा, राकेश वर्मा, हेमराज जजावरा, सूरज जजावरा, कैलाश वर्मा, जिला कोषाध्यक्ष दुर्गा लाल, लखन मेहर, घनश्याम, दीपक, वलभ प्रसाद, प्रेमचंद, गोपाल मेघवाल, बद्रीलाल, कन्हैयालाल, बाबूलाल सहित भीम आर्मी व आजाद समाज पार्टी के दर्जनों कार्यकर्ता व पदाधिकारी मौजूद रहे।

यह है मामला

भीम आर्मी प्रदेश उपाध्यक्ष कृष्ण सिंह मेहरा ने द मूकनायक को बताया कि 11 मई को भीम आर्मी कार्यकर्ता ईश्वर मेघवाल निवासी भड़का थाना डग परिवार के साथ पगारिया पुलिस थाना इलाके के गरडिया गांव में शादी में गया था। शादी समारोह में रात को बारात की चढ़ाई (निकासी) निकल रही थी। इस दौरान ईश्वर एक मंदिर के पास गली में लघुशंका के लिए चला गया।

इस दौरान जसवंतसिंह पुत्र भगवान सिंह, दीपक पुत्र मोहनसिंह और तीन चार अन्य साथियों के साथ मिलकर पीड़ित के साथ धक्का मुक्की की। जातिसूचक शब्दों से अपमानित करते हुए कहा कि तूने भीमराव की साफी गले में क्यों डाल रखी है।

पीड़ित डर कर भागने लगा तो आरोपियों ने घेर कर लकड़ी से पिटाई की। इससे शरीर पर चोट के निशान है। घटना के दूसरे दिन पीड़ित ईश्वर सिंह ने पगारिया पुलिस थाने में जसवंत सिंह और दीपक सिंह को नामजद करते हुए तीन चार अन्य के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी।

प्राथमिकी दर्ज कर थाने से जांच भवानी मंडी (झालावाड़) के पुलिस उपाधीक्षक किशोर सिंह को सौंपी गई थी, लेकिन घटना के एक सप्ताह के बाद भी सभी आरोपी गिरफ्तार नहीं हुए तो भीम आर्मी को सड़कों पर उतरना पड़ा।

भीम आर्मी प्रदेश उपाध्यक्ष कृष्ण मेहरा ने बताया कि इस दौरान में दिल्ली में प्रदर्शन कर रहे रेसलर की मांगों के समर्थन में भी ज्ञापन सौंपा गया। पुलिस उपाधीक्षक भवानी मंडी (झालावाड़) कार्यालय के एएसआई रहीश खान ने द मूकनायक को बताया कि एफआईआर में नामजद दोनों आरोपियों को 17 मई को गिरफ्तार कर लिया था। न्यायालय ने दोनों को जमानत पर छोड़ दिया है।

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