मध्य प्रदेश: 14 नर्सिंग कॉलेजों की मान्यता रद्द, 602 छात्रों का नामांकन भी निरस्त!

मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी ने फर्जीवाड़ा पाए जाने पर की सख्त कार्यवाही
मध्य प्रदेश: 14 नर्सिंग कॉलेजों की मान्यता रद्द, 602 छात्रों का नामांकन भी निरस्त!
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भोपाल। मध्य प्रदेश में नर्सिंग कॉलेज फर्जीवाड़े मामले में हाईकोर्ट की फटकार के बाद मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी ने नर्सिंग कॉलेज पर बड़ी कार्रवाई की है। यूनिवर्सिटी ने प्रदेश भर के 14 नर्सिंग कॉलेजों की संबद्धता समाप्त करते हुए 602 छात्रों का नामांकन स्थगित कर दिया है। यह मामला सत्र 2020-21 की संबद्धता और इसी सत्र में एडमिशन लेने वाले छात्रों का है। इसके साथ नर्सिंग परीक्षा पर हाईकोर्ट द्वारा लगी रोक पर सुप्रीम कोर्ट ने स्टे नहीं दिया है, जिसके बाद परीक्षा पर रोक बरकरार रहेगी।

मेडिकल यूनिवर्सिटी जबलपुर ने जिन 14 कॉलेजों की संबद्धता समाप्त की है, उनमें ग्वालियर के 9, भिंड के 4 और श्योपुर का 1 कॉलेज शामिल है। बता दें पूर्व से इनके खिलाफ सीबीआई जांच भी चल रही है। यूनिवर्सिटी की कार्यपरिषद की बैठक में इन कालेजों में एडमिशन लेने वाले बीएससी नर्सिंग के 508, पोस्ट बेसिक नर्सिंग के 60 और एमएससी नर्सिंग के 34 छात्रों का नामांकन (एनरोलमेंट) भी स्थगित कर दिया है।

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मेडिकल यूनिवर्सिटी जबलपुर के रजिस्ट्रार डॉ. पुष्पराज सिंह बघेल ने बताया कि प्रदेश नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल (एमपीएनआरसी) ने सत्र 2021-22 के 70 कॉलेजों की मान्यता रद्द की थी। इन्हीं में से 14 कॉलेजों की संबद्धता स्थगित की गई है। फिलहाल, नर्सिंग फर्जीवाड़े के तहत कई कॉलेजों की सीबीआई जांच चल रही है। इसलिए जब तक ये जांच पूरी नहीं हो जाती, तब तक संबद्धता और एनरोलमेंट स्थगित रहेंगे। ये छात्र परीक्षा में भी शामिल नहीं हो पाएंगे.

कार्यपरिषद बैठक में हुआ निर्णय

कार्यपरिषद की बैठक में सदस्यों की सहमति से यह निर्णय किया गया है। साथ ही नर्सिंग कॉलेजों की सत्र 2021- 22 की डुप्लीकेट फैकल्टी की भी जांच की जाएगी। जिसकी जांच 45 दिन में पूरी की जानी है। जांच उन्हीं कॉलेजों की होगी, जिनमें सत्र 2020-21 की डुप्लीकेट फैकल्टी की जांच पहले से चल रही है। जनकारी के मुताबिक लगभग 200 नर्सिंग कॉलेजों की पहचान हुई है। यूनिवर्सिटी को नर्सिंग और पैरामेडिकल कॉलेजों को सत्र 2021-22 को संबद्धता जारी करनी है, इसलिए पहले डुप्लीकेट फैकल्टी की जांच करने का निर्णय लिया गया है।

नर्सिग की परीक्षा पर रोक

वहीं, सुप्रीम कोर्ट ने गत सोमवार को मध्य प्रदेश में नर्सिंग परीक्षा पर लगी रोक हटाने के हाईकोर्ट के फैसले को बरकरार रखा है। एमपी हाई कोर्ट ने नर्सिंग परीक्षाओं पर रोक लगा रखी। सुप्रीम कोर्ट में ग्वालियर हाईकोर्ट की रोक के अंतरिम आदेश को चुनौती दी गई थी। याचिकाकर्ता ने आदेश पर स्टे की अपील की थी। लेकिन कोर्ट ने हाई कोर्ट के फैसले को बरकरार रखा है।

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