लखीमपुर। यूपी के लखीमपुर जिले के निघासन थाना क्षेत्र में वर्ष 2022 में बलात्कार व हत्या के बाद पेड़ पर लटकाई गई दलित बहनों के शवों के मामले ने सूबे में सियासी भूचाल ला दिया था। अब एक बार फिर जिले से ऐसा ही मामला सामने आया है। लखीमपुर के शारदा नगर थाना क्षेत्र के एक गांव में गत सोमवार सुबह घर के छप्पर से फंदे के सहारे लटकती हुई दलित किशोरी की लाश मिली। शव फंदे के सहारे लटक रहा था, किशोरी के पैर तखत (बेड) से छू रहे थे। इसके साथ ही शव के ठीक नीचे पेशाब और खून जमीन पर फैला था।
जब यह घटना हुई तब मृतिका के परिजन एक शादी समारोह में गए हुए थे। घर पर एक बूढ़ी महिला मौजूद थी। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। इधर, परिजन नाबालिग के साथ गैंगरेप के बाद हत्या करने का आरोप लगा रहे हैं। पुलिस परिजनों की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर जांच में जुट गई है।
घटना शारदा नगर थाना क्षेत्र के एक गांव की है। ग्राम प्रधान केशव सिंह (बदला नाम) ने द मूकनायक को बताया-"यह घटना जिस किसान के घर हुई वह बहुत गरीब है। घर में दो बेटी और दो बेटे हैं। किसान की पत्नी और उनकी मां साथ रहती है। परिवार के पास ज्यादा जमीन नहीं है। लगभग तीन बिगहा कच्चा खेती होगी।
ग्राम प्रधान ने बताया-"किशोरी के माता-पिता अपने साढ़ू की लड़की की शादी में गए हुए थे। घर पर वह बच्ची और उसकी दादी अकेले थी। रात को दोनों ने खाना खाया और सो गए। सुबह जब लड़की की दादी उठी तो उन्होंने बच्ची की लाश को छप्पर से लटकते हुए देखा। वह लाश को देखकर चिल्लाने लगी। गांव में हल्ला होने लगा और भीड़ जमा हो गई। गांव के लोगों ने मुझे फोन पर जानकारी दी। तब मैं मौके पर आया।"
ग्राम प्रधान बताते हैं-'किशोरी का शव देखकर लग रहा था, उसके साथ कुछ गलत हुआ है। घटनास्थल पर खून और पेशाब फैला था। मैंने पुलिस को जानकारी दी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। आज देर शाम किशोरी शव दफना दिया गया।"
इस मामले में परिजनों ने रेप के बाद हत्या कर शव लटकाने का आरोप लगाया है। मौके पर पहुंचे एसपी गणेश प्रसाद साहा ने मामले की गंभीरता को देखते हुए घटना के शीघ्र खुलासे के लिए क्षेत्र अधिकारी सदर के नेतृत्व में टीम का गठन किया है। डॉक्टर्स के पैनल द्वारा शव का पोस्टमार्टम करवाया। एसपी ने द मूकनायक को बताया कि परिजनों की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया गया है। जांच की जा रही है।
यूपी के लखीमपुर जिले के निघासन थाना क्षेत्र में 14 सितंबर 2022 को मां के सामने ही आरोपी अनुसूचित जाति की दोनों बहनों को बाइक पर बिठाकर अगवा कर ले गए थे और दुष्कर्म के बाद उनकी हत्या कर दी थी। आत्महत्या दिखाने के लिहाज से शव को पेड़ से लटकाकर आरोपी भाग गए थे। पुलिस ने चारों आरोपियों को मुठभेड़ के दौरान गिरफ्तार किया था। सुनील उर्फ छोटू के अलावा अन्य सभी आरोपी मृतका के पड़ोस के गांव के ही थे। मामले में 15 सितंबर को मुकदमा दर्ज करने के 14 दिन के अंदर ही 28 सितंबर को पुलिस ने चार्जशीट दाखिल की थी। मामले में एडीजे पॉक्सो की अदालत ने 10 महीने 27 दिन तक चली सुनवाई के बाद अपना फैसला सुना दिया था। फैसले में चारों आरोपी दोषी पाए गए थे।
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