झारखंडः पेपर में नकल करने के सन्देह पर शिक्षक ने दलित छात्रा के कपड़े उतरवाए छात्रा ने आत्मदाह किया अस्पताल में मौत से लड़ रही जंग

झारखंडः पेपर में नकल करने के सन्देह पर शिक्षक ने दलित छात्रा के कपड़े उतरवाए छात्रा ने आत्मदाह किया अस्पताल में मौत से लड़ रही जंग
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शिक्षक के खिलाफ पॉक्सो एक्ट में मुकदमा दर्ज

झारखंड में जमशेदपुर शहर के एक स्कूल में नकल के संदेह पर टीचर ने दलित छात्रा के कपड़े उतरवा लिए। इससे वह इतनी आहत हुई कि खुद को आग लगा ली। छात्रा 80 फीसदी जल गई है। उसके बचने की उम्मीद कम है। घटना जमशेदपुर के साकची के एक स्कूल की है। पीडि़ता नौवीं क्लास में पढ़ती है। छात्रा को आत्मदाह के बाद पहले एमजीएम मेडिकल कॉलेज ले जाया गया। हालात गंभीर देखकर उसे टीएमएच रेफर किया गया है। छात्रा वेंटिलेटर पर जिंदगी और मौत के बीच जूझ रही है। वहीं इस मामले में उपायुक्त विजया जादव ने कहा कि जांच समिति ने 16 अक्टूबर 2022 को अपनी रिपोर्ट सौंप दी। जिले के अधिकारियों ने लड़की के परिजनों को अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति ;अत्याचार निवारणद्ध अधिनियम के प्रावधानों के तहत मुआवजे के रूप में 250000 रुपए भी सौंपे। जादव ने 16 अक्टूबर 2022 को टाटा मेन अस्पताल की बर्न यूनिट का दौरा किया था। जहां 15 वर्षीय लड़की को भर्ती कराया गया है।

जानिए क्या है पूरा मामला ?

झारखंड के जमशेदपुर के छायानगर बस्ती में ऋतु रहती है। ऋतु एक स्कूल में 9वीं की छात्रा है। छात्रा के परिजनों ने बताया कि 14 अक्टूबर 2022 को सोशल साइंस के इम्तिहान के दौरान स्कूल की टीचर चंद्रा दास ने सभी लड़कियों के सामने उसके कपड़े उतारकर तलाशी ली थी। इससे उसने अपमानित महसूस किया। उसने तय किया कि अब जान दे देगी। छात्रा के घरवालों के मुताबिक वो शाम को करीब साढ़े 4 बजे घर लौटी। काफी गुमसुम थी। उसने अपनी दो बहनों को दूसरे कमरे में भेज दिया। फिर अपने कमरे में जाकर खुद पर केरोसीन डाली और आग लगा ली। छात्रा ने डॉक्टरों को बताया कि उसके पास कोई नकल की चिट नहीं थी। उसे टीचर चंद्रा दास के कपड़े उतराने के लिए कहने पर बहुत शर्मिंदगी हुई।

घरवालों के मुताबिक छात्रा का पूरा शरीर जल गया है। किसी तरह आग बुझाकर उसे अस्पताल ले जाया गया। घर में छात्रा के अलावा उसकी तीन और बहनें हैं। उसके पिता का निधन हो चुका है। मां मजदूरी कर घर चलाती है। वहींए स्कूल की प्रिंसिपल गीता रानी महतो का कहना है कि आरोपी टीचर ने उनको बताया था कि ये लड़की नकल करती है। गीता के मुताबिक उन्होंने छात्रा को बुलाकर समझाया भी था। उन्होंने कपड़े उतरवाने के आरोपों के गलत होने का दावा किया। पुलिस इस मामले में जांच कर रही है। प्रिंसिपल के दावे के उलट छात्रा की सहेली का कहना है कि आरोपी टीचर का व्यवहार ठीक नहीं रहता। वो अक्सर मारपीट और गाली.गलौज तक करती हैं। इस लड़की के मुताबिक क्लास की 20 छात्राएं कपड़े उतरवाए जाने की घटना की चश्मदीद हैं।

टीचर के खिलाफ मुकदमाए जांच कमेटी ने रिपोर्ट तैयार की

झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिले में आत्मदाह करने वाली दलित लड़की के मामले की जांच कर रही दो सदस्यीय समिति ने अपनी रिपोर्ट 16 अक्टूबर 2022 को सौंप दी। परीक्षा में नकल करने का संदेह होने पर एक शिक्षिका द्वारा कथित रूप से कपड़े उतारने के लिए मजबूर किए जाने के बाद छात्रा ने आत्मदाह का प्रयास किया था। पुलिस ने कहा कि आरोपी शिक्षिका को भारतीय दंड संहिता ;आईपीसीद्धए यौन अपराध से बच्चों का संरक्षण ;पॉक्सोद्ध कानून और किशोर न्याय अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत गिरफ्तार किया गया है।

छात्रा ने नकल करने की बात को इनकार किया

अधिकारियों ने कहा कि अधिकारी यह भी सुनिश्चित करेंगे कि उनके परिवार को विभिन्न सरकारी योजनाओं का लाभ मिले। नौवीं कक्षा की छात्रा ने पुलिस को दिए एक बयान में कहा था कि परीक्षा में नकल के संदेह पर 14 अक्टूबर को महिला निरीक्षक ने परीक्षा के दौरान कक्षा से सटे एक कमरे में उसके कपड़े उतरवाए थे ताकि यह पता चल सके कि उसने नकल की पर्ची अपने कपड़े में छिपाई है या नहीं। छात्रा ने बार.बार नकल की बात से इनकार किया था।

वहीं उसकी मां ने दावा किया कि उनकी बेटी इस अपमान को सहन नहीं कर सकी और स्कूल से लौटने के कुछ देर बाद ही उसने खुद को आग लगा ली।

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