भोपाल। मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले में दलित महिला सरपंच को मनबढ़ लोगों ने मारपीट की और फिर कीचड़ में घसीटा। घटना का वीडियो भी वायरल हो रहा है। जानकारी के मुताबिक दलित महिला सरपंच को महज इसलिए जूते-चप्पलों और लाठी से पीट दिया, क्योंकि उसने कागज पर साइन करने से इंकार कर दिया था।
दरअसल, शिवपुरी जिले के अंतर्गत कोलारस जनपद पंचायत की ग्राम पंचायत पहाड़ी में गांव के धर्मवीर यादव, रामवीर यादव और मुलायम यादव ने एक कागज पर हस्ताक्षर नहीं करने पर दलित महिला सरपंच गीता जाटव को बुरी तरह, जूतों से लाठी से पहले पीटा फिर कीचड़ में घसीटा। इस मामले में मारपीट का शिकार हुई दलित महिला सरपंच ने मामले की शिकायत पुलिस से की है। जिस पर पुलिस ने तीन आरोपियों के खिलाफ एससी-एसटी एक्ट व मारपीट की धाराओं में आपराधिक प्रकरण दर्ज कर लिया है। आरोपी फिलहाल फरार बताए जा रहे हैं।
जानकारी के अनुसार, गत मंगलवार को ग्राम पंचायत पहाड़ी की सरपंच गीता जाटव का बड़ा बेटा गोपाल जाटव रविवार को किसी काम से खरई गया था। खरई में उसे धर्मवीर यादव मिल गया, जिसने उससे कहा कि मेरे कागज पर सरपंच के साइन चाहिए। गोपाल ने जब धर्मवीर से पूछा कि किस कागज पर साइन करवाना है तो उसने गोपाल से कहा कि मैं तो आदमी मारने जा रहा हूं, तुझे साइन करवाने पड़ेगे। जब गोपाल ने साइन करवाने से मना किया तो धर्मवीर ने उसके साथ मारपीट कर दी।
गोपाल ने गांव जाकर जब अपनी मां सरपंच गीता जाटव को सारा घटनाक्रम बताया तो गीता बाई, धर्मवीर यादव की शिकायत करने के लिए उसके घर के लिए निकली। इसी दौरान रास्ते में उसे धर्मवीर यादव, रामवीर यादव और मुलायम यादव ने घेर लिया। तीनों ने उसे कथित जातिसूचक गालियां देते हुए जान से मारने की धमकी देकर कहा कि, तुझे सरपंची हमारे हिसाब से करनी होगी। जब गीता ने ऐसा करने से इंकार कर दिया तो तीनों ने उसे सरेराह जमीन पर पटक-पटक कर जूते-चप्पलों से पीटा। कीचड़ में घसीटा। पीडि़त सरपंच गीता ने बताया की धर्मवीर पिछले साल भर से लगातार उसे प्रताडि़त कर रहा है कि, उसे सरपंची उसके कहे अनुसार करनी पड़ेगी।
द मूकनायक से बातचीत करते हुए तेंदुआ थाना प्रभारी मनीष जादौन ने बताया। हमने पीडि़त पक्ष की शिकायत के आधार पर तीन आरोपितों के खिलाफ मारपीट समेत एससी-एसटी एक्ट की धाराओं में प्रकरण दर्ज कर लिया है। आरोपियों की तलाश की जा रही है। घटना का वीडियो भी सामने आया है। महिला सरपंच द्वारा आरोपी के किसी कागज पर हस्ताक्षर नहीं करने से विवाद हुआ था। जांच की जा रही है।
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